किससे कहूं, क्या कहूं, कैसे कहूं?|| kisase kahun kya kahun kaise kahun
किससे कहूं? किससे कहूं, क्या कहूं, कैसे कहूं?|| kisase kahun kya kahun kaise kahun किससे कहूं? चीखती-चिल्लाती रातों की बातें, कान चीरती ख़ामोशी की बातें, सिसकती-सुलगती जागती आँखों की बातें…